By Sohel F Fidai :
मेरे सपने के सच होने में मेरी मां का भूमिका अहम रही : आर्यन विकल
बॉलीवुड दिखने में जितना चकाचौंध भरा है, उसकी गलियां उतनी ही मुश्किल है। कई लोग इन गलियों में सपने लेकर आये। कईयों के पूरे हुए तो कईयों के रास्ते में ही बिखर गए। इन्हीं रास्तों पर जब नोएडा के संभ्रात परिवार से आने वाले आर्यन विकल चलना शुरू किया, तब उनका साथ परिवार ने भी छोड़ दिया। लेकिन मां तो मां होती है, जिन्होंने उनके सपने को सकार करने में आर्यन का साथ दिया। आर्यन की मां स्व0 उषा विकल प्रशिद्ध शिक्षाविद् और केमेस्ट्री टीचर थीं, जिन्होंने आर्यन का साथ कभी नहीं छोड़ा। यही वजह है कि आज आर्यन विकल का सपना फिल्म ‘बेदाद’ के रूप में सफल होने जा रही है।
‘बेदाद’ फ़िल्म को आर्यन बेहद अहम मानते हैं, क्योंकि कड़ी मशक्कत के बाद उन्हें यह फिल्म मिली थी। आर्यन की कहानियां स्ट्रगल से भरी है। आर्यन का पूरा नाम आर्य नवोदित विकल है। बचपन से ही फिल्मों में रूचि रखते थे। इंग्लिश में MA और MBA की डिग्री प्राप्ति के बाद रियल स्टेट में नौकरी भी की। मगर वहां उनका मन नहीं लगा। यूं कहें तो कॉलेज के दिनों में पढ़ाई करने के लिए मुंबई गए थे। उस वक्त जब उन्होंने घर में मॉडलिंग की बात कही तो सबों ने मना किया। लेकिन मां ने 50 हजार रूपए दिये और उसे लेकर वे मुंबई में स्ट्रगल करने लगे।
दिन खराब ही चल रहे थे। एक वक्त ऐसा आया कि उनके पूरे पैसे खत्म हो गए, मगर उन्होंने हिम्मत नहीं हारी। लेकिन यह कब चलता, तो वे निराश होकर वापस नोएडा लौट आये। यहां उन्होंने अपनी शिक्षा पूरी की और फिर मां से एक साल का वक्त मांगा। तभी उनकी मुलाकात फिल्म ‘बेदाद’ के मेकर से हुई, जिनसे उन्होंने फिल्म में दिलचस्पी दिखाते हुए काम मांगा था।
आपको बता दें कि आर्यन “मैं तेनु भुल ना पावांगी” जैसी अलबम में नजर आ चुके हैं। इसमें नीलम बत्रा की सुमधुरआवाज के सहारे आर्यन ने अपनी किस्मत आजमानी शुरू की। इस अलबम ने लोकप्रियता के झंडे गाड़े और अब फ़िल्म बेदाद में भी इसकी पुनरावृत्ति सम्भव है। पारिवारिक पृष्ट भूमि के लिहाज से आर्यन एक शिक्षित और सम्पन्न परिवार से ताल्लुक रखते है, आर्य समाजी विचारधारा से ओत प्रोत परिवार में इनके पिता डॉ आनंद आर्य कई समाजिक कार्यो के सम्मानित किए जा चुके है। उनकी मां का निधन कैंसर की वजह से हुआ। उनके बड़े भाई शोभित विकल अमेरिका की एक प्रसिद्ध कम्पनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर है और भाभी मन्जू विकल भी केंद्र सरकार में गजेटिड अफसर है। एक मात्र बहन श्वेता अवाना नोएडा के नामचीन और सम्पन्न परिवार से सम्बंधित है।
बावजूद इसके आर्यन ने फिल्म को अपना करियर बनाने का फैसला किया और आज उनकी फिल्म जब रिलीज को है तो उन्हें बस इस बात का मलाल है कि उनका सपना तो सच हो रहा है, मगर इस वक्त उनकी मां साथ नहीं हैं, जो हर कदम पर उनके साथ खड़ी रहीं थी।
Naghma khan
Shaaz media entertainment
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